आईपीएल इतिहास का सबसे बड़ा तूफान, जब क्रिस गेल ने बना डाले 175 रन 

23 अप्रैल 2013 को, क्रिस गेल ने बेंगलुरु के चिन्नास्वामी स्टेडियम में टी20 क्रिकेट का सबसे बड़ा स्कोर बनाया। जानिए इस अविश्वसनीय पारी की पूरी कहानी, CrickeTalk की जुबानी।

आईपीएल इतिहास का सबसे बड़ा तूफान, जब क्रिस गेल ने बना डाले 175 रन
आईपीएल इतिहास का सबसे बड़ा तूफान, जब क्रिस गेल ने बना डाले 175 रन

क्रिस गेल की धमाकेदार पारी

23 अप्रैल 2013 का दिन भारतीय प्रीमियर लीग (आईपीएल) के इतिहास में एक ऐसा दिन था जिसे कोई क्रिकेट प्रेमी कभी नहीं भूल सकता। यह वह दिन था जब बेंगलुरु के चिन्नास्वामी स्टेडियम में क्रिकेट के इतिहास का सबसे बड़ा तूफान आया। इस तूफान का नाम था क्रिस्टोफर हेनरी गेल, जिसे दुनिया ‘यूनिवर्स बॉस’ के नाम से जानती है। इस पारी ने न सिर्फ क्रिकेट की किताबों में एक नया अध्याय जोड़ा, बल्कि गेंदबाजों के लिए यह एक भयावह रात बन गई।

पुणे वॉरियर्स के खिलाफ संघर्ष

मैदान पर उतरने से पहले ही इस मैच की चर्चा थी। पुणे वॉरियर्स इंडिया, जिसने पिछले 7 मैचों में तीन बार अपने कप्तान को बदला था, का सामना विराट कोहली की अगुवाई वाली रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु से हो रहा था। पुणे ने टॉस जीता और पहले गेंदबाजी करने का निर्णय लिया। यह निर्णय उनके लिए कितना भारी पड़ेगा, इसका अंदाज़ा शायद किसी को भी नहीं था।

क्रिस गेल और तिलकरत्ने दिलशान ने रॉयल चैलेंजर्स के लिए पारी की शुरुआत की। गेंदबाजी की कमान बी कुमार के हाथों में थी, जिन्होंने अपने पहले ओवर में केवल 3 रन दिए। लेकिन जैसे ही दूसरा ओवर शुरू हुआ, तूफान ने अपनी दस्तक दी। गेल ने मैदान पर गेंदबाजों की धज्जियां उड़ानी शुरू कीं, और बारिश के बाद जब खेल दोबारा शुरू हुआ, तो यह तूफान और भी प्रचंड हो गया।

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क्रिस गेल के तूफान में उड़े पुणे के गेंदबाज

गेल ने 17 गेंदों में ही 50 रन पूरे कर लिए, और ऐसा लग रहा था जैसे वह किसी और ही दुनिया के खिलाड़ी हैं। गेंदबाज एक-एक करके आते और गेल के बल्ले से लगातार बाउंड्री लगती रहती। पुणे वॉरियर्स के गेंदबाज अली मर्तज़ा की गेंदबाजी पर गेल ने लगातार छक्के लगाए, जिससे उनकी पारी का रुख और आक्रामक हो गया।

31 गेंदों में ही गेल ने आईपीएल इतिहास का सबसे तेज शतक पूरा किया। यह पारी इतनी धमाकेदार थी कि स्टेडियम में बैठे दर्शक भी हैरान थे। यह शतक सिर्फ एक रिकॉर्ड नहीं था, बल्कि यह एक संदेश था कि टी20 क्रिकेट में गेल से बड़ा कोई नहीं है। गेंदबाजों के सामने गेल ऐसे खड़े थे मानो वह किसी युद्ध के योद्धा हों, जो अपनी तलवार से मैदान को जीतने के लिए निकले हों।

आंधी से तबाही तक : 175*

शतक के बाद भी गेल का तूफान थमने का नाम नहीं ले रहा था। उनके हर शॉट में ताकत और आक्रामकता झलक रही थी। उन्होंने एक के बाद एक छक्के लगाए और पुणे के गेंदबाज बस मैदान में खड़े-खड़े तमाशा देखते रहे। 20 ओवरों के खेल के बाद, रॉयल चैलेंजर्स ने 263 रन बनाए, जिसमें से 175 रन अकेले गेल के बल्ले से निकले, वह भी सिर्फ 66 गेंदों में।

17 छक्के और 13 चौके। यह पारी टी20 क्रिकेट की अब तक की सबसे बड़ी पारी बन गई। इस पारी ने न केवल रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु को विशाल स्कोर पर पहुंचाया, बल्कि यह भी दिखाया कि टी20 क्रिकेट में कोई भी गेंदबाज क्रिस गेल के सामने सुरक्षित नहीं है।

पुणे वॉरियर्स की शर्मनाक हार

पुणे वॉरियर्स को 264 रन का विशाल लक्ष्य मिला, लेकिन यह लक्ष्य उनके लिए असंभव साबित हुआ। रॉबिन उथप्पा और आरोन फिंच ने टीम के लिए पारी की शुरुआत की, लेकिन मुरली कार्तिक ने पहले ही ओवर में उथप्पा को आउट कर दिया, जिससे पुणे का मनोबल टूट गया। धीरे-धीरे पुणे वॉरियर्स के बल्लेबाज एक-एक करके पवेलियन लौटते गए, और अंत में उन्होंने 133 रनों पर अपनी पारी समाप्त की। रॉयल चैलेंजर्स ने 130 रनों से मैच जीता, जो आईपीएल इतिहास की सबसे बड़ी जीतों में से एक थी।

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23 अप्रैल 2013 को क्रिस गेल ने साबित कर दिया कि वह टी20 क्रिकेट के बेताज बादशाह हैं। उन्होंने न सिर्फ गेंदबाजों को ध्वस्त किया, बल्कि एक ऐसा मानदंड स्थापित किया जो आने वाले समय में खिलाड़ियों के लिए मील का पत्थर साबित होगा। आज भी जब क्रिकेट प्रेमी उस दिन को याद करते हैं, तो क्रिस गेल की वह पारी और उसके बाद की चुप्पी गूंजती है।

यह पारी सिर्फ क्रिकेट का एक शानदार प्रदर्शन नहीं था, बल्कि यह एक दिग्गज खिलाड़ी का अद्वितीय प्रदर्शन था, जिसने टी20 क्रिकेट को एक नया आयाम दिया। गेल की इस पारी ने उन्हें हमेशा के लिए ‘यूनिवर्स बॉस’ का दर्जा दिया और उनके नाम के साथ यह पारी हमेशा के लिए क्रिकेट के इतिहास में दर्ज हो गई।

गेल की इस पारी के बाद, हर एक गेंदबाज के चेहरे पर निराशा थी। मैदान में गेंदबाजों को लगा कि वे किसी अविश्वसनीय शक्ति के सामने हैं, जो थमने का नाम ही नहीं ले रही। पुणे के कप्तान और गेंदबाज इस पारी के सामने पूरी तरह असहाय नजर आए। क्रिकेट के इतिहास में इस तरह की पारी शायद ही दोबारा देखने को मिले।“क्रिस्टोफर हेनरी गेल”, इस नाम ने टी20 क्रिकेट को एक अलग पहचान दी और आने वाली पीढ़ियों के लिए एक ऐसा मानक स्थापित किया जिसे छू पाना भी मुश्किल होगा।

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